झूठा निकला पाक का दावा, कंप्यूटर से बनाया था परमाणु सबमरीन का वीडियो
इस्लामाबाद। सोमवार को पाकिस्तान द्वारा किये गये परमाणु क्षमता संपन्न बाबर-3 क्रूज मिसाइल की लॉन्चिंग पर सवालिया निशान खड़े हो चुके हैं। रिपोर्ट्स के अनुसार पाकिस्तान ने लांचिंग का जो वीडियो जारी किया है उसमें छेड़छाड़ कर उसे फर्जी तरीके से बनाया गया है। मिसाइल वैज्ञानिकों ने इस मामले में तकनीकी सबूत पेश किये हैं और साथ ही दावा किया है कि पाकिस्तान ने दुनिया के सामने अपनी झूठी शान पेश की है। उसके द्वारा जारी किया गया वीडियो पूरी तरह से फर्जी है। वीडियो में मिसाइल की लांचिंग दिखाने के लिए कंप्यूटर ग्राफिक्स का इस्तेमाल किया गया है।
विशेषज्ञों ने बताया कि पठानकोट के एक सैटेलाइट इमेजरी एनालिस्ट ने दावा किया है कि पाकिस्तान ने स्वदेशी बैकग्राउंड पर कंप्यूटर द्वारा बनाई गई मिसाइल की तस्वीर का इस्तेमाल किया है और दुनिया के सामने बाबर-3 के लॉन्च के सफल होने का झूठ पेश किया। वहीं भारत के भी कई रक्षा विशेषज्ञों ने पाकिस्तानी सेना के इस वीडियो को कंप्यूटर-जनित बताया था। ध्यान देने वाली बात ये है कि आखिर कैसे वीडियो में मिसाइल का रंग सफेद से नारंगी हो जाता है।
बता दें कि पाकिस्तान ने पहली बार पनडुब्बी से क्रूज मिसाइल बाबर-3 का सफल परीक्षण करने का दावा किया था। पाकिस्तान के इंटर-सर्विसेज पब्लिक रिलेशन्स (आईएसपीआर) के डायरेक्टर जनरल मेजर जनरल आसिफ गफूर ने इस बात की जानकारी ट्विटर पर दी थी। आईएसपीआर के डीजी गफूर का दावा था कि परमाणु क्षमता से लैस बाबर-3 मिसाइल की रेंज 450 किलोमीटर थी और इसे हिंद महासागर में एक गुप्त स्थान से छोड़ा गया था। इस पर पाकिस्तान सेना के हवाले से भी बयान आया था कि बाबर-3 कई तरह के उपकरण ले जाने में सक्षम थी और इससे पाकिस्तान की परमाणु हमले का जवाब देने की क्षमता में इजाफा हुआ था।