इस्लाम की सलामती के लिए ट्रंप नहीं मोदी के पैरों में गिरेगा पाकिस्तान

पाकिस्तान के पसीनेइस्‍लामाबाद| डोनाल्ड ट्रंप अमेरिका के राष्ट्रपति क्या बने, पाकिस्तान के पसीने छूट गए। पाकिस्तान अब आतंकवाद को जड़ से मिटाने और मुस्लिमों को बैन करने की सोच रखने वाले डोनाल्ड ट्रंप को मनाने में जुट गया है| पाकिस्तान जानता है कि अगर डोनाल्ड नहीं मानें तो उसके सारे ट्रंप कार्ड बेकार जाएंगे।

पाकिस्तान के पसीने छूटे

साथ ही अगर पीएम नरेंद्र मोदी और डोनाल्ड ट्रंप की यारी जमी, तब तो पाक के लिए मुश्किलें ही मुश्किलें खड़ी हो जाएंगी। वहीं, विशेषज्ञ मान रहे हैं कि इस समय पाकिस्तान के लिए अमेरिका की तरह ही भारत और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी अहम हैं। पीएम मोदी की बात दुनिया सुन रही है, इसलिए अगर पाकिस्तान को सुकून चाहिए तो उसे मोदी की भी मदद लेनी होगी।

फिलहाल ट्रंप को पटाने का काम पाकिस्तानी प्रधानमंत्री के विदेश मामलों के सलाहकार सरताज अजीज ने संभाला है। उन्होंने आतंकवाद के खिलाफ अमेरिका के साथ मिलकर काम करने की इच्छा जताई है| एक समाचार चैनल को दिए गये इंटरव्यू में उन्होंने कहा कि पाकिस्तान अमेरिका के नए राष्ट्रपति डॉनल्‍ड ट्रंप के साथ आतंकवाद से लड़ने के लिए समान हितों पर काम करने का इच्छुक है|

अजीज यहीं नहीं रुके। उन्होंने अपने ही देश में फल-फूल रहे आतंकवाद का विरोध भी किया। ये वही अजीज हैं, जो भारत के खिलाफ रणनीति बनाते वक्त आतंकवाद के आकाओं को अपने बगल में बैठाते हैं।

आतंकवादी संगठनों की निंदा करते हुए अजीज ने कहा कि पिछले समय में कुछ नियमों के चलते इसके खिलाफ ठोस कार्रवाई में बाधा आई लेकिन अब सब ठीक है|

उन्होंने कहा कि आतंकवाद के अतिरिक्त अफगानिस्तान में राजनीतिक समाधान निकाले जाने पर भी पाकिस्तान अमेरिका के साथ काम कर सकता है|

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