‘गणेश भगवान’ के डर से हिला भारतीय रेल, निपटने के लिए किए नए इंतज़ाम

चूहों के आतंकनई दिल्ली। गणेश भगवान की सवारी कहे जाने वाले चूहे भी आजकल कलयुगी होते जा रहे हैं। अब तक तो इनका कब्ज़ा सिर्फ एकांत की जगहों पर हुआ करता था, पर अब ये भीड़-भाड़ वाले इलाके में भी अपनी धौंस जमा चुके हैं। इसका सबसे सटीक उदाहरण है रेलवे स्टेशन, जहां यात्री पूरी तरह इनकी गिरफ्त में आ चुके हैं। और रेल प्रशासन चूहों के आतंक के सामने पूरी तरह नतमस्तक हो चुका है।

चूहों के आतंक के सामने नतमस्तक हुआ भारतीय रेल..

इलाहाबाद रेलवे ट्रैक और स्टेशनों पर चूहों ने आतंक फैला रखा है। चूहों के आतंक से परेशान रेलवे ने अब पूरा एक विभाग ही इसके लिए तैयार करने का निर्णय लिया है। विभाग के अफसर और कर्मचारी स्टेशन पर साफ-सफाई और पर्यावरण से जुड़े मामलों को देखेंगे। रेलवे ट्रैक पर गंदगी के कारण बड़े चूहे हो जाते हैं। ट्रैक के नीचे चूहे बिल खोदते हैं इससे ट्रैक धंसने की आशंका रहती है।

इतना ही नहीं चूहे बिल बनाकर प्लेटफॉर्मों को भी खराब कर देते हैं। पिछले साल इलाहाबाद जंक्शन के वीआईपी रूम तक में चूहों ने आतंक मचाकर समान काट दिया था। पहले चूहों की रोकथाम के लिए बंदोबस्त करने की जिम्मेदारी इंजीनियरिंग और कॉमर्शियल विभाग की होती थी। दोनों विभागों में तालमेल न होने के कारण रेलवे बोर्ड ने नया विभाग ही बनाने का फैसला कर लिया है। इन्वायरमेंट एंड हाउसकी¨पग नाम का ये विभाग इसके लिए काम करेगा।

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