अखिलेश ने मोदी पर कसा तंज कहा , चाय वाले से शुरु हुआ चौकीदार

नई दिल्ली : लोकसभा चुनाव प्रचार की पूरी बहस ‘चौकीदार’ शब्द पर आ टिकी है। जहां एक तरफ पीएम नरेंद्र मोदी ने देश के 500 स्थानों पर विडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए ‘मैं भी चौकीदार’ कैंपेन करने का फैसला लिया है तो वही दूसरी तरफ विपक्ष ने तीखा हमला बोला है।

 

अखिलेश

 

मायावती ने इस कैंपेन पर हमला बोलते हुए ट्वीट किया है कि सादा जीवन उच्च विचार के विपरीत शाही अंदाज में जीने वाले जिस व्यक्ति ने पिछले लोकसभा चुनाव के वक्त वोट की खातिर अपने आपको चायवाला प्रचारित किया था।

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वही अब इस चुनाव में वोट के लिए ही बड़े तामझाम और शान के साथ अपने आपको चौकीदार घोषित कर रहे हैं। जहां देश वाकई बदल रहा है। और यही नहीं एसपी चीफ अखिलेश यादव ने भी तंज कसते हुए ट्वीट किया है कि विकास पूछ रहा है कि खाद की बोरी से चोरी रोकने के लिए भी कोई चौकीदार है क्या?

देखा जाए तो इसके बाद एक और ट्वीट में अखिलेश ने कहा है कि विकास पूछ रहा है कि जनता के बैंक खाते से चोरी छिपे जो पैसे काटे जा रहे हैं, उससे बचाने के लिए कोई चौकीदार है क्या?’ तीसरे ट्वीट में उन्होंने कहा, ‘विकास पूछ रहा है कि मंत्रालय से जहाज की फाइल चोरी होने के लिये जिम्मेदार लापरवाह चौकीदार को सजा मिली क्या?

इस बीच बीजेपी ने ‘मैं भी चौकीदार’ कैंपेन को चुनावी थीम बनाने का ही फैसला ले लिया है। मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने बताया कि पीएम नरेंद्र मोदी देश की 500 लोकेशंस पर 31 मार्च को विडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए ‘मैं भी चौकीदार’ आंदोलन का समर्थन करने वाले लोगों के साथ चर्चा करेंगे।

बीजेपी नेता और केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने बताया कि आज हम देश के लोगों का अभिनंदन करना चाहते हैं कि महज कुछ दिनों में ही इस आंदोलन के साथ करोड़ों लोग जुड़े हैं। बीजेपी लीडर ने कहा कि यह एक बड़ा जनांदोलन बन गया है।

इसमें डॉक्टर, प्रफेशनल किसान और स्वच्छता कर्मचारी समेत सभी जुड़े हैं। कुछ लोगों को इससे परेशानी है, आप मोदी जी से नफरत करते हैं, लेकिन आप भी चौकीदार बन जाते तो क्या दिक्कत थी।

रविशंकर प्रसाद ने राहुल गांधी पर अटैक करते हुए कहा, ‘जो बेल पर हैं, उन्हें ‘मैं भी चौकीदार हूं’ कैंपेन से परेशानी है। जिनका परिवार और संपत्ति कठिनाई में हैं, उनकी परेशानी में है। जो खुद परिवार सहित कानूनी कार्रवाई झेल रहे, जिन पर छिपाने के लिए कुछ है, उन्हें परेशानी है।

खबरों के मुताबिक प्रसाद ने कहा कि वह कह रहे हैं कि चौकीदार अमीरों के लिए होता है, गरीबों के लिए नहीं। जब सत्ता में थे तो जनता का 12 लाख करोड़ रुपये लूटा। क्या बताने की जरूरत है कि किसे चौकीदार की जरूरत है और किसे नहीं।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि ‘मैं भी चौकीदार’ भले ही आज कैंपेन के तौर पर चल रहा है, लेकिन यह बात पीएम मोदी ने 2014 में ही कही थी। प्रसाद ने कहा, ‘प्रधानमंत्री जी को यह क्यों शुरू करना पड़ा। याद करिए 2014 में जब चुनाव हो रहा था, तब देश की क्या स्थिति थी।

इकॉनमी के मोर्चे पर भारत की हालत खराब थी। करप्शन फ्री नीति की जरूरत थी, छवि खराब थी। टूजी, कोलगेट और सबमरीन घोटालों के चलते नरेंद्र मोदी ने उस दौरान प्रचार में कहा था कि मैं भारत का प्रधानसेवक बनूंगा और चौकीदार बनूंगा।’

रविशंकार प्रसाद ने कहा कि यह कैंपेन एक दिन ग्लोबल ट्रेंड था। इसे 20 लाख लोगों ने ट्वीट किया। इसका इंप्रेशन 1680 करोड़ था। 1 करोड़ लोगों ने सोशल मीडिया और नमो ऐप पर चौकीदार होने की शपथ ली है। सभी प्लैटफॉर्म्स पर इस विडियो को एक करोड़ लोगों ने देखा।

दरअसल बेंगलुरु में टेक कंपनियों से जुड़े लोगों को सवाल पूछने पर अरेस्ट किए जाने को लेकर रविशंकर प्रसाद ने सीधे राहुल गांधी पर वार किया। उन्होंने कहा, ‘बेंगलुरु में कुछ लोगों को सवाल पूछने पर अरेस्ट कर लिया गया।

वही दो साल पहले टुकड़े गैंग के साथ खड़े थे, लेकिन दूसरी तरफ आईटी प्रफेशनल उनका विरोध करते हैं तो उनको बंद किया जाता है। हमसे सवाल वह और उनकी बहन पूछते हैं कि बोलने की आजादी छिनी जा रही है।’ हमें नहीं बल्कि राहुल गांधी को बहुत कुछ सीखने की जरूरत है।

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