नए सर्वे से आसाम में धुंधली पड़ी भाजपा की उम्‍मीद

एजेन्सी/  mamta-banerjee_landscape_1457230126पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों के लिए भाजपा ने जहां पूरी ताकत झोंक दी है वहीं उसकी सबसे बड़ी उम्‍मीद आसाम में पहली बार सरकार बनाने की संभावनाएं धूमिल पड़ती नजर आ रही हैं। 

इंडिया टीवी सी वोटर के ताजा सर्वे पर यकीन करें तो आसाम में भाजपा की बहुमत की सरकार बनना मुश्किल है वहां जनता किसी एक पार्टी को जनादेश देती नहीं दिख रही है। जबकि पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी वापसी करने वाली हैं तो दक्षिण के बड़े राज्य तमिलनाडु में भी जयललिता एक बार फिर सत्ता में लौटती दिख रही हैं। केरल में लेफ्ट डेमोक्रेटिक फ्रंट सत्तारूढ़ यूडीएफ को पटखनी देकर सरकार बना सकता है।

न्यूज चैनल इंडिया टीवी और सी वोटर द्वारा करवाए गए सर्वे के अनुसार केवल ममता बनर्जी और जयललिता ही सत्ता में वापसी कर सकती हैं। दोनों महिला मुख्यमंत्रियों को सत्ता में वापसी करने में किसी खास परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा। जबकि आसाम में तरुण गागोई और केरल में ओमन चांडी को सत्ता से बेदखल होना पड़ सकता है। 

वहीं सबसे ज्यादा सुर्खियों बटोरते दिख रहे आसाम चुनाव में भाजपा के सामने भी मुश्किल खड़ी होती नजर आ रही हैं। पार्टी यहां पूर्ण बहुमत की उम्‍मीद कर रही है, लेकिन सर्वे की मानें तो भाजपा गठबंधन को 126 सदस्यीय विधानसभा में मात्र 55 सीटों से ही संतोष करना पड़ सकता है।

भाजपा यहां असम गण परिषद और बोडो संगठन के साथ मिलकर चुनाव लड़ रही है। जबकि कांग्रेस गठबंधन उससे थोड़ा पीछे 53 सीटों के साथ नजर आ रहा है। बदरुद्दीन अजमल का यूडीएफ 12 सीटें जीत सकता है। 

तमिलनाडु में एआईडीएमके नेता और मुख्यमंत्री जयललिता 234 सदस्यों वाली विधानसभा में 130 सीटों के साथ पूर्ण बहुमत के साथ एक बार फिर सरकार बना सकती हैं। जबकि विपक्षी कांग्रेस-डीएमके गठबंधन मात्र 70 सीटों पर सिमटता नजर आ रहा है। वहीं सर्वे में आश्चर्यजनक रूप से भाजपा को यहां एक भी सीट नहीं दी गई है। अन्य को 34 सीट मिलने की उम्‍मीद जताई जा रही है।  

पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी एक बार फिर पूर्ण बहुमत पाती दिख रही हैं। 294 सदस्यों वाली विधानसभा में उनकी पार्टी टीएमसी 160 सीटों के साथ दोबारा सत्ता में लौटती दिख रही हैं। 

हालांकि यह आंकड़ा पिछले चुनावों से काफी पीछे है जब ममता ने 184 सीटों के साथ पश्चिम बंगाल में तीन दशक से चल रहे वाम शासन का एक झटके में ही अंत कर दिया था। वहीं सीपीआई को कांग्रेस के साथ गठबंधन का भी खास फायदा नजर नहीं आ रहा है गठबंधन को 137 सीटें मिलने की संभावना जताई गई है। 

पश्चिम बंगाल में बेशक वामदलों को मायूसी मिलती दिख रही है लेकिन केरल में उनके लिए उम्‍मीद की किरण नजर आ रही है। 140 सदस्य वाली केरल विधानसभा में वामदलों का गठबंधन एलडीएफ 86 सीटों के साथ सरकार बना सकता है। जबकि सत्तारूढ़ कांग्रेस नीत यूडीएफ मात्र 53 सीटों पर सिमट सकता है। हालांकि भाजपा को भी चार सीटों के साथ यहां खाता खुलने की उम्‍मीद है।

बता दें कि यह सर्वे मार्च के चौथे सप्ताह में इंडिया टीवी के लिए सी वोटर की ओर से किया गया था। 

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