हिमाचल में बारिश का कहर: शिमला और कोटखाई में भूस्खलन से तीन की मौत, इतने जिलों में रेड अलर्ट

हिमाचल प्रदेश में मूसलाधार बारिश और भूस्खलन ने भारी तबाही मचाई है। शिमला के जुन्गा में भूस्खलन की चपेट में आए एक घर में पिता-पुत्री की मौत हो गई, जबकि कोटखाई में मलबे में दबने से एक बुजुर्ग महिला की जान चली गई।

मौसम विभाग ने छह जिलों—ऊना, बिलासपुर, हमीरपुर, कांगड़ा, मंडी और सिरमौर—में भारी से बहुत भारी बारिश के लिए रेड अलर्ट जारी किया है। नौ जिलों में स्कूल-कॉलेज बंद कर दिए गए हैं, और चार नेशनल हाईवे सहित 662 सड़कें अवरुद्ध हैं।

शिमला के जुन्गा तहसील के पटवार सर्कल डबलू के जोत मोहाल में लगातार बारिश के कारण हुए भूस्खलन में एक घर ढह गया, जिसमें पिता और उनकी पुत्री की मौत हो गई। मृतक की पत्नी उस समय घर के बाहर होने के कारण बच गई। अधिकारियों ने तुरंत बचाव अभियान शुरू किया, लेकिन बंद सड़कों और खराब मौसम ने राहत कार्यों में बाधा डाली। दूसरी ओर, शिमला के कोटखाई के चोल गांव में भूस्खलन से एक मकान ढह गया, जिसमें बुजुर्ग महिला कलावती की मलबे में दबने से मौत हो गई।

प्रदेश में बारिश और भूस्खलन से हालात गंभीर हैं। चार नेशनल हाईवे—कुल्लू-मनाली, रामपुर-किन्नौर, सैंज-औट-लूहरी और पांवटा-शिलाई—सहित 662 सड़कें बंद हैं। 985 बिजली ट्रांसफार्मर और 495 पेयजल योजनाएं ठप हैं, जिससे जनजीवन बुरी तरह प्रभावित है। कांगड़ा, शिमला और कुल्लू के हवाईअड्डों पर उड़ानें रद्द कर दी गई हैं। शिमला में हाईकोर्ट के पास एक कार पर बिजली का खंभा गिरा, और सुन्नी में एक बस पर मलबा गिरने से यातायात बाधित हुआ। विकासनगर में दो गाड़ियां भूस्खलन की चपेट में आ गईं।

कुल्लू के नग्गर नाले में बाढ़ से दो लोग फंस गए, जिन्हें सुरक्षित निकाला गया। ऊना के कई गांवों में सैकड़ों कनाल उपजाऊ जमीन बर्बाद हो गई। कांगड़ा में 14 और हमीरपुर में तीन मकान क्षतिग्रस्त हुए। सिरमौर में गिरि नदी के उफान पर होने से जटौन बैराज से पानी छोड़ा गया, और एक घराट बह गया। चंबा के कंगेला गांव में दर्जनों मकान खतरे में हैं, और भरमौर-पठानकोट हाईवे कई जगह बाधित है। लाहौल के त्रिलोकीनाथ मंदिर में 32 लोग फंसे हैं।

मौसम विभाग के अनुसार, अगस्त 2025 में हिमाचल में सामान्य से 72% अधिक बारिश हुई, जिसमें कुल्लू में 162%, चंबा में 104% और शिमला में 126% अतिरिक्त वर्षा दर्ज की गई। 24 से 31 अगस्त के बीच चंबा में 589% और कुल्लू में 458% अधिक बारिश हुई। मंगलवार को भी चंबा, कांगड़ा, कुल्लू और मंडी में रेड अलर्ट जारी है। प्रशासन ने लोगों से नदी-नालों से दूर रहने और अनावश्यक यात्रा से बचने की अपील की है।

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