राहुल गांधी पुंछ में पाकिस्तानी गोलीबारी से अनाथ हुए 22 बच्चों को देंगे सहारा: ऑपरेशन सिंदूर के बाद लिया फैसला

जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले में ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तानी गोलीबारी में अपने माता-पिता या परिवार के कमाऊ सदस्य को खोने वाले 22 बच्चों को कांग्रेस नेता और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने गोद लेने का फैसला किया है। इस पहल के तहत राहुल गांधी इन बच्चों की शिक्षा का पूरा खर्च उठाएंगे, ताकि उनकी पढ़ाई बिना किसी रुकावट के जारी रहे।

जम्मू-कश्मीर कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष तारिक हमीद कर्रा ने बताया कि 7 से 10 मई के बीच पुंछ और राजौरी में पाकिस्तानी गोलीबारी से भारी जनहानि और संपत्ति का नुकसान हुआ। राहुल गांधी ने मई में पुंछ का दौरा किया और प्रभावित परिवारों से मुलाकात की। उन्होंने स्थानीय कांग्रेस नेताओं से उन स्कूली बच्चों की सूची तैयार करने को कहा, जिन्होंने अपने माता-पिता या परिवार के कमाऊ सदस्य को खोया।

कर्रा ने कहा कि पुंछ जिले में 22 ऐसे बच्चों की सूची तैयार की गई है, और तीन दिन की यात्रा के बाद इसमें और बच्चे शामिल किए जा सकते हैं। पहली वित्तीय सहायता 30 जुलाई को जारी की जाएगी, जो बच्चों की स्नातक स्तर तक की पढ़ाई के लिए जारी रहेगी।

राहुल गांधी ने मई 2025 में पुंछ का दौरा किया था, जहां उन्होंने गोलीबारी से प्रभावित परिवारों से मुलाकात की और इसे एक बड़ी त्रासदी करार दिया। उन्होंने कहा, “यह एक बहुत बड़ी त्रासदी है। कई लोगों की जान गई और भारी नुकसान हुआ। मैंने प्रभावित लोगों से बात की और उनकी समस्याओं को समझा। उन्होंने मुझसे इस मुद्दे को राष्ट्रीय स्तर पर उठाने का अनुरोध किया, और मैं ऐसा करूंगा।” इस दौरान राहुल ने क्राइस्ट पब्लिक स्कूल का भी दौरा किया, जहां 12 साल की जुड़वां बहन-भाई उरबा फातिमा और जैन अली समेत तीन छात्र गोलीबारी में मारे गए थे। उन्होंने बच्चों को पढ़ाई, खेल और दोस्ती पर ध्यान देने की सलाह दी।

ऑपरेशन सिंदूर 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के जवाब में शुरू किया गया था, जिसमें 26 लोग, ज्यादातर पर्यटक, मारे गए थे। इसके जवाब में भारतीय सशस्त्र बलों ने 7 मई को पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में नौ आतंकी ठिकानों, जिसमें जैश-ए-मोहम्मद का बहावलपुर और लश्कर-ए-तैयबा का मुरिदके का अड्डा शामिल था, पर मिसाइल हमले किए। इन हमलों के बाद पाकिस्तान ने नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर भारी गोलीबारी और ड्रोन हमले किए, जिसमें पुंछ में 13 सहित जम्मू-कश्मीर में कुल 28 नागरिकों की मौत हुई और 70 से अधिक लोग घायल हुए।

पाकिस्तानी गोलीबारी से पुंछ सबसे ज्यादा प्रभावित हुआ, जहां कई बच्चों सहित नागरिक घायल हुए और संपत्ति को भारी नुकसान पहुंचा। राहुल गांधी ने प्रभावित परिवारों के प्रति एकजुटता दिखाते हुए उनकी मदद के लिए यह कदम उठाया। कर्रा ने कहा, “यह पहल बच्चों को सहारा देने और उनकी पढ़ाई को बिना रुकावट जारी रखने के लिए है।”

राहुल ने पहले भी भारत जोड़ो यात्रा के दौरान ‘मोहब्बत की दुकान’ का नारा दिया था, और यह कदम उनकी उस सोच को दर्शाता है।

जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने भी प्रभावित परिवारों के लिए सहायता की घोषणा की है। उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने कहा कि पीड़ित परिवारों के लिए सरकारी नौकरियां और केंद्रीय सहायता प्रदान की जाएगी। साथ ही, सीमावर्ती क्षेत्रों में बंकर निर्माण और सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत करने के प्रयास किए जा रहे हैं।

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