AIMIM के लोकसभा सांसद की टिप्पणी पाकिस्तानी मंत्री हनीफ अब्बासी द्वारा पहलगाम आतंकवादी हमले के बाद भारत द्वारा सिंधु जल संधि को निलंबित करने के जवाब में भारत को परमाणु जवाबी हमले की खुली धमकी देने के बाद आई है।

पहलगाम हमले के बाद कुछ पाकिस्तानी नेताओं की ओर से लगातार युद्धोन्माद और नासमझी भरी बयानबाजी के बीच एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने रविवार को पड़ोसी देश पर हमला बोला और उसकी तुलना आतंकी समूह आईएसआईएस से की। उन्होंने धर्म के नाम पर निर्दोष लोगों की हत्या करने वाले आतंकवादियों की खास तौर पर आलोचना की।
एआईएमआईएम प्रमुख ने दोहराया कि आतंकवादियों ने पहलगाम में पर्यटकों की हत्या करने से पहले उनका धर्म पूछा। उन्होंने कहा, “आप किस धर्म की बात कर रहे हैं? आप खवारिज से भी बदतर हैं। यह कृत्य दिखाता है कि आप आईएसआईएस के उत्तराधिकारी हैं।”
ओवैसी ने कहा, “निर्दोष लोगों को उनकी आस्था के आधार पर मारना हमारे धर्म में नहीं है।”
पाकिस्तान को भारत की जवाबी कार्रवाई की चेतावनी देते हुए ओवैसी ने यह भी सुझाव दिया कि पड़ोसी देश या उसके नेताओं को भारत के साथ सैन्य संघर्ष में उतरने या परमाणु युद्ध की धमकी देने में उत्सुकता नहीं दिखानी चाहिए। उन्होंने कहा कि वे भारत की सैन्य या आर्थिक ताकत का मुकाबला नहीं कर सकते।
ओवैसी ने कहा, “वे (पाकिस्तान) भारत से आधे घंटे नहीं, बल्कि आधी सदी पीछे हैं। हमारा सैन्य बजट आपके राष्ट्रीय बजट से बड़ा है। पाकिस्तानी नेताओं को भारत को परमाणु युद्ध की धमकी नहीं देनी चाहिए। उन्हें याद रखना चाहिए कि अगर वे किसी दूसरे देश में निर्दोष लोगों को मारेंगे तो कोई भी चुप नहीं रहेगा।”
एआईएमआईएम के लोकसभा सांसद की यह टिप्पणी पाकिस्तानी मंत्री हनीफ अब्बासी द्वारा भारत को परमाणु हमले की खुली धमकी दिए जाने के बाद आई है। अब्बासी ने चेतावनी दी है कि पाकिस्तान के शस्त्रागार – जिसमें घोरी, शाहीन और गजनवी मिसाइलों के साथ-साथ 130 परमाणु हथियार शामिल हैं – को “केवल भारत के लिए” रखा गया है। इससे पहले, पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने धमकी दी थी कि अगर भारत ने पहलगाम आतंकी हमले का सैन्य जवाब दिया तो “पूरी तरह से” युद्ध छिड़ जाएगा । इस हमले में 26 नागरिकों की जान चली गई थी।
हाल के दिनों में भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव चरम पर है, क्योंकि पहलगाम आतंकवादी हमले के प्रतिशोध में भारत ने महत्वपूर्ण सिंधु जल संधि को निलंबित कर दिया है, पाकिस्तानी नागरिकों के वीजा रद्द कर दिए हैं तथा राजनयिक संबंधों को काफी कम कर दिया है।
सिंधु संधि के संबंध में भारत के कदम के बाद, कई पाकिस्तानी नेताओं ने भारत को गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी दी है तथा परमाणु युद्ध की संभावना से भी इनकार नहीं किया है।
पाकिस्तानी आतंकवादी समूह लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) से संबद्ध द रेजिस्टेंस फ्रंट (टीआरएफ) के आतंकवादियों ने 22 अप्रैल को पहलगाम के बैसरन मैदानों में पर्यटकों पर गोलीबारी की जिसमें कम से कम 26 लोग मारे गए।
केंद्र सरकार के लिए ओवैसी की सलाह
ओवैसी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार को भी सलाह देते हुए कहा कि कश्मीर वास्तव में भारत का अभिन्न अंग है, लेकिन कश्मीरी लोगों को भी हमारे अपने लोगों की तरह स्वीकार किया जाना चाहिए।
ओवैसी ने कहा, “मैं अपने प्रधानमंत्री से यह भी कहना चाहूंगा कि जिस तरह कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है, उसी तरह कश्मीरी लोग भी भारत का अभिन्न अंग हैं।”
ओवैसी की कश्मीर संबंधी टिप्पणी एक वर्ग विशेष को लक्षित कर की गई थी, जिसमें पहलगाम हमले के संदर्भ में कश्मीरी लोगों को गलत छवि में दिखाया गया था, तथा कहा गया था कि यह हमला स्थानीय लोगों की मिलीभगत से किया गया होगा।