90 साल में बनकर तैयार हुई थी ये मूर्ति, देख लेने से ही बन जाते हैं बिगड़े काम

लेशान बुद्धदुनिया में कई तरह के आश्चर्य मौजूद हैं, जिनके बारे में कोई न कोई पौराणिक कहानी जरुर होती है. इन जगहों के बारे में वैज्ञानिक और सामजिक तर्क भी होते हैं. आज के दौर में चीजें जितनी आसानी और कम समय में बनकर तैयार हो जाती हैं, उतनी ही जल्दी वह खराब हो जाती हैं. आज से सालों पहले ऐसा नहीं था. भले ही इमारतों और मूर्तियों को तैयार करने में ज्यादा समय लगता था. लेकिन ये आज भी अपनी जगह पर ज्यों की त्यों खड़ी हुई हैं. ऐसी ही एक विशाल प्रतिमा है, जिसे बनाने में 90 साल का वक्त लगा था. लेशान बुद्ध के नाम से प्रसिद्ध 230 फीट लम्बी इस पत्थर की प्रतिमा को, यूनेस्को द्वारा सबसे ऊंची नक्काशीदार पत्थर से बनी हुई मूर्ति घोषित किया गया है.

महात्मा बुद्ध की प्रतिमा चीन के लेशान में स्थित है. ऐसी मान्यता है कि नए साल की शुरूआत में गौतम बुद्ध की इस प्रतिमा को एक बार देखने भर से ही किसी भी व्यक्ति की सोई किस्मत चमक सकती है.

230 फीट लम्बी इस बुद्ध की मूर्ति की विशालता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि बुद्ध के पैर का अंगूठा सामान्य डाइनिंग रूम में रखी जाने वाली, टेबल जितना बड़ा है.

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ये प्रतिमा लिंगयुआन पर्वत पर मौजूद है, जिसमें बुद्ध ध्यानमुद्रा में बैठे हुए हैं. इस जगह के बारे में कहा जाता है इस मूर्ति का निर्माण ‘तंग’ वंश के दौरान 713 ई.सी में शुरू हुआ था. इसे बनने में करीब 90 साल लगे.

नए साल के दिन यहां पर दुनिया भर से लाखों लोग दर्शन करने के लिए पहुंचते है.

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