
मकर संक्रांति का पर्व आने वाला है। हिन्दू धर्म में मकर संक्राति का विशेष महत्व है। इस बार ग्रहों के विशेष संयोग के कारण यह पर्व और भी विशेष होने वाला है। मकर संक्रांति के दिन सूर्य उत्तरायण होता है, और मकर राशि में प्रवेश करता है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार मकर संक्रांति के दिन सूर्य देव अपने पुत्र शनि के घर जाते हैं। बाताया जाता है, कि मकर संक्रांति से ही ऋतु भी बदलने लगती होने है। शास्त्रों की माने तो इस दौरान स्नान-दान करने से कई गुना फल प्राप्त होता है। इस दिन सूर्यदेव की विधि-विधान के साथ पूजा करने पर व्यक्ति को मनचाहा वरदान तो मिलता ही है बल्कि शनिदेव की भी कृपा प्राप्त होती है।

शनि की साढ़ेसाती और शनि की ढैय्या से मिलेगी राहत
मकर राशि में शनि का गोचर देखा जा सकता है। बता दें कि शनि 7 जनवरी 2021 को अस्त हो चुके हैं। जिसके बाद से शनि का प्रभाव पहले से कम हो जाता है। मकर राशि को छोड़कर अन्य सभी राशियों को शनि की दृष्टि से राहत मिल सकती है।

शनि देव की करें पूजा
मकर संक्रांति पर बन रहे खास ग्रहों के संयोग के कारण शनि देव की पूजा का विशेष फल इस दिन प्राप्त होगा। यदि आप इस दिन शनि देव की पूजा और शनि का दान करते हैं तो शनि की अशुभता को कम करने में यह लाभकारी होगा। कथाओं के अनुसार मकर संक्रांति के दिन सूर्य देव अपने पुत्र शनिदेव के घर आते हैं। इसलिए माना जाता है कि इस दिन शनिदेव अपने भक्तों के उपर कृपा करने में देरी नहीं करे।

मकर संक्रांति शुभ मुहूर्त
14 जनवरी प्रात: 8.30 से शाम 5.46 बजे तक है