दो दशको में भारत में सबसे ज्यादा मौतें हार्ट डिसीज से हुईं,एक्सपर्ट से समझें इसके कारण और रोकथाम

WHO के मुताबिक, पिछले 20 साल में हार्ट डिसीज से 20 लाख से अधिक मौते हुईं। पब्लिक हेल्थ फाउंडेशन ऑफ इंडिया (PHFI) की रिपोर्ट कहती है, देश में हार्ट डिसीज के बढ़ते मामलों की सबसे बड़ी वजह हाई ब्लड प्रेशर और खराब खानपान है। स्मोकिंग करने वाले 83 फीसदी लोगों में हार्ट डिसीज होने का खतरा ज्यादा रहता है। हालांकि, हालिया रिसर्च में सामने आया है देश में लोगों की स्मोकिंग करने की आदत घट रही है।

ग्रामीण क्षेत्रों में हृदय रोगों के मामले ज्यादा
लैंसेट की रिपोर्ट के मुताबिक, अब ग्रामीण क्षेत्रों में हृदय रोगों के मामले बढ़ रहे हैं। यहां पुरुषों में 40 फीसदी और महिलाओं में 56 फीसदी तक हार्ट के मामलों में बढ़ोतरी हुई। हृदय रोगों से सबसे ज्यादा मौतें तमिलनाडु, कर्नाटक, पंजाब और हरियाणा में हो रही हैं। वहीं, स्ट्रोक से होने वाली मौत के सबसे ज्यादा मामले नार्थ ईस्ट, पश्चिम बंगाल, छत्तीसगढ़ में सामने आ रहे हैं

2016 में आई WHO की एक रिपोर्ट कहती है, शहरी क्षेत्रों में 58 फीसदी डॉक्टर्स के पास मेडिकल डिग्री है जबकि गांवों में यही आंकड़ा मात्र 19 फीसदी है। नेशनल रूरल हेल्थ मिशन के आंकड़ों के मुताबिक, गांव में 8 फीसदी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बिना डॉक्टर के चल रहे हैं। 61 फीसदी केंद्रों में मात्र एक डॉक्टर है। मामले और मौतें बढ़ने की और भी कई वजह हैं। इनमें गरीबी, स्वास्थ्य सुविधाएं और सलाह न मिल पाना और स्मोकिंग शामिल हैं।

अब बात रोकथाम की, हार्ट को स्वस्थ्य कैसे रखें

इंद्रप्रस्थ अपोलो हॉस्पिटल के कार्डियो-थोरेसिक एंड वेस्कुलर सर्जरी के सीनियर कंसल्टेंट डॉ. मुकेश गोयल कहते हैं, महामारी शुरू होने के बाद हालात और बिगड़े हैं। कोरोनाकाल में हार्ट अटैक और कार्डियक अरेस्ट के मामले 20 फीसदी तक बढ़े हैं। हार्ट डिसीज से जुड़े लक्षण दिखने के बाद भी कई लोग हॉस्पिटल आने से बच रहे हैं। उन्हें संक्रमित होने का डर सता रहा है जबकि स्थिति यह है कि ऐसा करने पर उनकी हालत और ज्यादा नाजुक हो सकती है। कुछ बातों का ध्यान रखकर इसके मामलों को घटाया जा सकता है। जानिए, वो 10 बातें जो हृदय रोगों से दूर रखेंगी और अगर मरीज हैं तो स्थिति कंट्रोल में रहेगी।

  1. सर्दियों में गेहूं की रोटी की जगह बाजरा, ज्वार या रागी अथवा इनका आटा मिलाकर बनाई रोटी खाएं। आम, केला, चीकू जैसे ज्यादा मीठे फल कम खाएं। पपीता, कीवी, संतरा जैसे कम मीठे फल खाएं।
  2. तली और मीठी चीजें जितना कम कर दें, उतना बेहतर है। जितनी भूख से उससे 20 फीसदी कम खाएं और हर 15 दिन में वजन चेक करते रहें।
  3. दिल की बीमारियों की एक बड़ी वजह मोटापा है। वजन जितना बढ़ेगा और हृदय रोगों का खतरा उतना ज्यादा रहेगा। इसलिए सप्ताह में पांच दिन 45 मिनट तक एक्सरसाइज करें। वॉकिंग भी करते हैं तो असर दिखता है।
  4. फिटनेस को इस स्तर पर लाने का प्रयास करें कि सीधे खड़े होने पर जब आप नीचे नजरें करें तो बेल्ट का बक्कल दिखे। अगर एक से डेढ़ किलोमीटर जाना है तो पैदल जाएं।
  5. कोरोना के मामले घटते हैं या बढ़ते हैं, दोनों ही स्थिति सावधानी बरतना न भूलें। मास्क लगाएं और हाथों की सफाई का ध्यान रखें। भीड़-भाड़ वाली जगह जाने से बचें।
  6. रोजाना कम से कम 7 घंटे की नींद जरूर लें। जल्दी सोने और जल्द उठने का रूटीन बनाएं। रात 10 से सुबह 6 बजे तक सोने का आदर्श समय है।
  7. धूम्रपान और अल्कोहल छोड़ देना ही बेहतर है। धूम्रपान करने से इसका धुआं धमनियों की लाइनिंग को कमजोर करता है।
  8. रिसर्च में भी साबित हो चुका है कि तनाव हृदय रोग के मामलों को बढ़ाता है। इसका सीधा असर दिमाग पर भी होता है। इसलिए तनाव लेने से बचें।
  9. लाफ्टर योग भी कर सकते हैं। यह एक तरह की थैरेपी है जो तनाव को दूर करने में मदद करती है।
  10. एक जरूरी बात यह भी है कि वॉट्सऐप पर हार्ट डिसीज से बचने के लिए तरह-तरह के दावे किए जाते हैं। इने अपनाने से पहले डॉक्टरी सलाह जरूर लें।
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