जानिए कोटा में नाबालिक बच्चे ने मंगलसूत्र, चूड़ी पहनकर लगाई फांसी, पुलिस को टिकटॉक का पूरा शक…

राजस्थान के कोटा में एक 12 साल के बच्चे ने खुद को फांसी लगा ली. फंदा लगाते समय उसने हाथ में चूड़ियां पहनी हुई थीं. गले में मंगल सूत्र भी था उसके. पुलिस को शक है कि बच्चे ने मोबाइल ऐप टिक टॉक के असर में खुद की जान ली है.

 

नाबालिक

बता दें की कोटा में एक कॉलोनी है- विज्ञान नगर. यहीं रहता था कुशल सिंधी. छठी क्लास में पढ़ता था. 17 जून की रात वो सोने के लिए अपने कमरे में गया.

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जहां अगली सुबह जब वो नहीं उठा, तो घरवालों को चिंता हुई. वो अपने बिस्तर पर नहीं मिला. उसके कमरे के पास एक बाथरूम था. उसी के अंदर दरवाजे का सहारा लेकर कुशल लटका हुआ था. जहां उसकी गरदन में लोहे की जंजीर लिपटी हुई थी. परिवार के लोग उसे फटाफट अस्पताल ले गए. डॉक्टरों ने बताया, उसकी मौत हो चुकी है.

स्थानीय थाने के प्रभारी मुमिंद्रा सिंह ने इस घटना के बारे में बताते हुए कहा-

शुरुआती जांच से मालूम होता है कि बच्चे ने शायद गलती से खुद की जान ले ली. वो शायद टिक टॉक पर एक वीडियो बनाने की तैयारी कर रहा था. कुछ गड़बड़ हुई और वो मर गया.

देखा जाये तो पुलिस को फिलहाल ये लग रहा है कि कुशल या तो किसी मोबाइल गेम का टास्क पूरा काम कर रहा था. या फिर वो टिक टॉक पर कोई वीडियो बना रहा था.

लेकिन ऑटोप्सी रिपोर्ट के बाद चीजें ज्यादा स्पष्ट हो सकेंगी. वैसे कोटा के ASP राजेश मिल का कहना है कि अभी कुछ भी पक्के तौर पर नहीं कहा जा सकता है.

कुशल के घरवालों का कहना है कि उसको वीडियो गेम्स का बहुत चस्का था. उसने टिक टॉक भी डाउनलोड किया हुआ था. कुशल के पिता ने बताया कि जिस रात कुशल की मौत हुई, उस रात वो बहुत देर तक जगा हुआ था. वो अपने मोबाइल पर गेम खेलने में लगा हुआ था.

परिवार को लगता है कि टिक टॉक के ही चक्कर में उन्होंने अपना बच्चा खो दिया है. वैसे मोबाइल गेम के चक्कर में मौतों की कुछ खबरें पहले भी आ चुकी हैं. लोग गेम के टारगेट्स, इसका टास्क पूरा करने के लिए अजीबोगरीब चीजें भी कर जाते हैं. बच्चे ज्यादा वलनरेबल होते हैं ऐसी चीजों के लिए.

दरअसल टिक टॉक एक मोबाइल वीडियो ऐप है. इसमें यूजर अपने छोटे-छोटे विडियो बनाते हैं. उन विडियोज़ में स्पेशल इफेक्ट का पुट भी होता है.

भारत में तीन करोड़ से भी ज्यादा लोग इसे इन्स्टॉल कर चुके हैं. कुछ दिनों पहले भारत की एक अदालत ने इसपर बैन लगा दिया था. आरोप था कि ये ऐप पॉर्नोग्रफी को बढ़ावा दे रही है. लेकिन बाद में इसे हटा भी दिया गया.

 

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