अमेरिका नही जाएगी पहली अफगान महिला पायलट

महिला पायलट काबुल। अफगानिस्तान की पहली महिला पायलट नीलोफर रहमानी ने अमेरिका से शरण मांगने की रिपोर्ट को खारिज किया है। उन्होंने अपने देश की सेवा करने की प्रतिबद्धता को दोहराया है। टोलो न्यूज के अनुसार, नीलोफर ने अफगान वायु सेना को लिखे पत्र में कहा कि उन्हें गलत समझा गया और न्यूयॉर्क टाइम्स ने उनका गलत हवाला दिया है।

नीलोफर रहमानी द्वारा अमेरिका में शरण के आवेदन की रिपोर्ट सामने आने के बाद अफगानिस्तान के लोगों में गुस्सा भड़क गया।

नीलीफर वायुसेना में कैप्टन हैं। उन्होंने कहा कि अफगानिस्तान के दुश्मन हमेशा समाज में दुष्प्रचार और गलतफहमी फैलाने में जुटे रहते हैं। यह महिला के विकास और योग्यता को लेकर जनता को गुमराह करने के उद्देश्य से किया जा रहा है।

उन्होंने कहा, “इतिहास साबित करता है कि अफगानिस्तानके दुश्मन महिला के खिलाफ बोलकर आम जनता में भ्रम फैलाने के लिए एक मौके के इंतजार में रहते हैं। इन कदमों का मकसद सिर्फ देश के विकास की प्रक्रिया में महिलाओं को शामिल होने से रोकना है।”

पत्र में उन्होंने कहा है, “मैं न्यूयॉर्क टाइम्स के लेख में गलत व्याख्या से बहुत दुखी हूं और अपने सभी साथियों से जो इस रिपोर्ट से आहत हुए उनसे क्षमा मांगती हूं। मैं सिर्फ बेहतर शिक्षा चाहती हूं जिससे मैं अपने देश और अपने पीड़ित लोगों खास तौर से मेरी बहनों की सेवा कर सकूं जिससे अफगानिस्तान को गर्व हो।”

लेकिन, अफगानिस्तान के रक्षा मंत्रालय ने कहा है कि नीलोफर रहमानी लोगों से झूठ बोल रही हैं।

नीलोफर अमेरिका में साल 2015 में अमेरिकी विदेश विभाग द्वारा वोमेन ऑफ करेज अवॉर्ड से सम्मानित कि ए जाने के बाद से मशहूर हुईं हैं।

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