
महाराष्ट्र एटीएस ने 2006 के मुंबई ट्रेन विस्फोट मामले में सभी आरोपियों को बरी करने के बॉम्बे हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती दी

महाराष्ट्र आतंकवाद निरोधी दस्ते (एटीएस) ने 2006 के मुंबई ट्रेन विस्फोट मामले में सभी आरोपियों को बरी करने के बॉम्बे हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती देने के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। यह कदम हाईकोर्ट के उस फैसले के ठीक एक दिन बाद उठाया गया है जिसने भारत के हालिया इतिहास के सबसे घातक आतंकवादी हमलों में से एक से निपटने के तरीके को लेकर सार्वजनिक और कानूनी बहस छेड़ दी थी।
भारत के मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई की अध्यक्षता वाली पीठ ने मामले का संज्ञान लिया है और इसकी सुनवाई गुरुवार, 24 जुलाई को निर्धारित की है। एटीएस की अपील उच्च न्यायालय के उस फैसले पर पुनर्विचार के लिए एक महत्वपूर्ण कानूनी प्रयास है, जिसने मामले में कई दोषियों को दोषी ठहराए जाने के फैसले को पलट दिया था। 2006 में मुंबई की उपनगरीय ट्रेनों को निशाना बनाकर किए गए सिलसिलेवार बम धमाकों में 189 से ज़्यादा लोगों की जान चली गई थी और 800 से ज़्यादा लोग घायल हुए थे।