पंजाब के पूर्व उप मुख्यमंत्री सुखबीर सिंह बादल को मानहानि मामले में जिला अदालत से लगा झटका, जमानती वारंट जारी

पंजाब के पूर्व उप-मुख्यमंत्री सुखबीर सिंह बादल पर चल रहे मानहानि केस में जिला अदालत ने जमानती वारंट जारी किये हैं। इस मामले की अगली सुनवाई 27 नवंबर को होगी। अदालत ने सुखबीर सिंह बादल को सम्मन जारी किये थे लेकिन उस समय भी पूर्व उप मुख्यमंत्री कोर्ट में पेश नहीं हुवे थे, जिसके बाद इस केस का ट्रायल उच्च न्यायालय के निर्देशों पर गीतांजली गोयल की कोर्ट से ट्रांसफर कर ए.सी.जे.एम. तेज प्रताप सिंह रंधावा की कोर्ट में कर दिया गया था।

सुखबीर सिंह बादल पर आरोप है कि सुखबीर ने जत्थे और उसके प्रवक्ता को आतंकवादी संगठन बब्बर खालसा का राजनीतिक चेहरा बताया था। इसी वर्ष की शुरुआत में अदालत ने इस केस का ट्रायल शुरू किया था और मामले की सुनवाई शुरू करने के लिए सुखबीर सिंह बदल को सम्मन भेजे थे, लेकिन बादल इस दौरान पेश नहीं हुए। इसके बाद लॉकडाउन के चलते सिर्फ जरुरी केसों की ही सुनवाई हुई।

वहीं लॉकडाउन के समय में ही इस केस को पंजाब एंड हरियाणा उच्च न्यायालय के निर्देशों पर गीतांजली गोयल की कोर्ट से एसीजेएम जज तेजप्रताप सिंह रंधावा की कोर्ट में ट्रांसफर कर दिया गया था। एसीजेएम ने अपनी कोर्ट में बीती 3 नवंबर को हुई पहली ही सुनवाई में सुखबीर के चंडीगढ़ सेक्टर 9 स्थित मकान नंबर-256 के पते पर सम्मन भेजा था, किन्तु जब सुखबीर मंगलवार को कोर्ट में पेश नहीं हुए तो अदालत ने उनके खिलाफ जमानती वारंट जारी कर दिए। अगर सुखबीर सिंह बादल इसके बाद भी कोर्ट में पेश नहीं हुए तो अदालत उनके खिलाफ गैर जमानती वारंट भी जारी कर सकता है।

उल्लेखनीय है की यह केस उनके खिलाफ अखंड कीर्तनी जत्थे और उसके प्रवक्ता को आतंकवादी संगठन बब्बर खालसा का राजनीतिक चेहरा बताने पर किया गया था।

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