कांग्रेस अध्यक्ष ने विधानसभा के लिए कसी कमर, कहा- सीट बंटवारे पर जल्द लें फैसला

नई दिल्ली। कांग्रेस पार्टी लोकसभा चुनावों में हार के बाद से आगे के फैसलों पर विचार करने में देरी नहीं कर रही है। राहुल गांधी के कांग्रेस अध्यक्ष पद से इस्तीफा देने के बाद उनकी मां सोनिया गांधी ने कमान अपने हाथों में ली है। और वे इस बार के चुनावों को लेकर कॉफी एक्टिव नजर भी आ रहीं है।

सोनिया गांधी ने महारष्ट्र में होने वाले चुनावों को लेकर अभी से आगाह कर दिया है कि महाराष्ट्र में पार्टी के नेता राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के साथ सीट बंटवारे को जल्द अंतिम रूप दें साथ ही चुनाव के प्रचार शुरू करने की बात कही है। बता दें कि अगले महीने यानी अक्टूबर में राज्य में विधानसभा चुनाव प्रस्तावित है।

सूत्रों के मुताबिक महाराष्ट्र में कांग्रेस और एनसीपी के बीच सीट बंटवारे का मुख्य पेंच ‘स्वाभिमानी पक्ष’ जैसे कुछ छोटी पार्टियों के लिए सीटें तय करने को लेकर फंसा हुआ है।

राहुल गांधी के इस्तीफे के बाद 10 अगस्त को पार्टी की अंतरिम अध्यक्ष चुनी गईं सोनिया से पिछले दिनों महाराष्ट्र प्रदेश कांग्रेस कमेटी के कुछ नेताओं ने मुलाकात की थी और इस दौरान राज्य में चुनाव तैयारियों को लेकर बात हुई थी।

सोनिया से मुलाकात करने वाले नेताओं में शामिल पीसीसी के एक वरिष्ठ नेता ने बताया कि सोनिया जी ने कहा है कि हम पूरी ताकत से चुनाव की तैयारियों में जुट जाएं। उन्होंने सीटों के तालमेल को जल्द अंतिम रूप देने, चुनाव प्रचार अभियान आरंभ करने और उम्मीदवारों का शीघ्र चयन करने के लिए भी बोला है।

उन्होंने कहा कि नई पीसीसी बनने के बाद एनसीपी के साथ कई दौर की बातचीत हो चुकी है, हालांकि अभी सीट बंटवारे को अंतिम रूप नहीं दिया जा सका है।

कुछ हफ्ते पहले एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने कहा था कि महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए उनकी पार्टी और कांग्रेस के बीच 288 विधानसभा सीटों में से 240 सीटों पर सहमति बन गई है और कुछ दिनों के भीतर सीट बंटवारा हो जाएगा, हालांकि यह अब तक नहीं हो पाया है।

महाराष्ट्र कांग्रेस के नेता ने कहा कि कई दौर की बैठकें हो गई हैं और ज्यादातर सीटों को लेकर हमारे बीच सहमति बन गई है। आशा है कि जिन कुछ सीटों को लेकर बात अटकी हुई है उन पर भी फैसला हो जाएगा। लोकसभा चुनाव की तरह कांग्रेस-एनसीपी गठबंधन के सामने भाजपा-शिवसेना के साथ ही प्रकाश अंबेडकर के नेतृत्व वाला ‘वंचित बहुजन अघाड़ी’ (वीबीए) भी बड़ी मुश्किल खड़ी कर सकता है।

इस बारे में पूछे जाने पर कांग्रेस नेता ने कहा कि लोकसभा चुनाव में लोगों को समझ आ गया कि प्रकाश अंबेडकर किसकी मदद कर रहे हैं। विधानसभा चुनाव में उनका कोई असर नहीं होगा।

वैसे, पीसीसी नेता ने यह भी कहा कि उम्मीदवारों के चयन की प्रक्रिया पहले से चल रही थी और स्क्रीनिंग कमेटी बनने के बाद में इसमें और तेजी आने की उम्मीद है। ज्योतिरादित्य सिंधिया के नेतृत्व में महाराष्ट्र के लिए स्क्रीनिंग कमेटी बनाई गई है।

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कांग्रेस और एनसीपी ने महाराष्ट्र में लगातार 15 वर्षों तक सत्ता साझा करने के बाद अक्टूबर 2014 का विधानसभा चुनाव अलग अलग लड़ा था। कांग्रेस और एनसीपी ने कुल 288 विधानससभा सीटों में से क्रमश: 287 और 278 सीटों पर चुनाव लड़ा था। कांग्रेस ने 42 सीटें जबकि राकांपा ने 41 सीटें जीती थीं।

इस लोकसभा चुनाव में दोनों साथ लड़ीं, लेकिन राज्य की कुल 48 सीटों में से एनसीपी चार और कांग्रेस सिर्फ एक सीट ही जीत सकी।

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