उपचुनावों की चुनौतियां के बाद भी यूपी नहीं आएंगी प्रियंका गांधी, जानें क्यों

Report- Ram anuj bhatt

लखनऊः यूपी के उपचुनाव में उत्तर प्रदेश की 11 विधानसभा सीटें पर 21 अक्टूबर में चुनाव होने हैं। इन सभी सीटों पर कांग्रेस अकेले चुनाव लड़ रही है। लेकिन उत्तर प्रदेश की प्रभारी होने के बावजूद प्रियंका गांधी कांग्रेसी उम्मीदवारों के लिए प्रचार नहीं करेंगी। हांलाकि कांग्रेस अपने दम पर उपचुनाव को जीतने की बात कर रही है। ऐसे में कांग्रेस की नई तारणहार के प्रचार न करने से प्रभाव पड़ सकता है।

2019 के लोकसभा चुनाव के दौरान प्रियंका गांधी को महासचिव बनाकर पूर्वी उत्तर प्रदेश की जिम्मेदारी दी गई थी और प्रियंका ने भी इस जिम्मेदारी को निभाते हुए यूपी में जमकर प्रचार किया था।

पर कोई खासा असर नहीं पड़ा। राहुल गांधी भी चुनाव हार गए। अब भी ये कांग्रेस के नेता यह मान रहे है कि आने वाले समय में प्रियंका गांधी उत्तर प्रदेश में पार्टी को दोबारा जिंदा करने की कोशिश करेंगी। लोकसभा चुनाव के बाद अब विधानसभा उपचुनाव का मौका आया है। उत्तर प्रदेश की 11 विधानसभा सीटों पर 21 अक्टूबर को चुनाव होना है। लेकिन अब प्रियंका गांधी किसी भी प्रत्याशी के लिए चुनाव प्रचार नहीं करेंगी।

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अमूमन किसी भी राज्य का प्रभारी अपने प्रदेश में होने वाले किसी भी चुनाव में प्रचार करता है। लेकिन प्रियंका के प्रचार में न जाने के पीछे कांग्रेसी नेताओं के कई तर्क हैं। कुछ यहा मानते हैं कि केंद्रीय नेतृत्व को उपचुनाव में प्रयोग नहीं किया जा सकता है क्योंकि राष्ट्रीय मुद्दे नहीं होते। हांलाकि राहुल गांधी पहले उपचुनाव में प्रचार कर चुके हैं। अब कांग्रेस के प्रत्याशियों की नईया बीच धारा में फंसी हुई है।

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