नोटबंदी का फैसला आर्थिक नहीं राजनीतिक : जयराम रमेश

नोटबंदी का फैसलानई दिल्ली: कांग्रेस के नेता जयराम रमेश ने गुरुवार को कहा कि नोटबंदी का फैसला अर्थव्यवस्था के बारे में विचार कर नहीं लिया गया, बल्कि यह फैसला राजनीति से प्रेरित था।

जयराम रमेश ने यहां पत्रकारों से कहा कि नोटबंदी के पक्ष में नरेंद्र मोदी की सरकार ने जो तर्क दिए हैं कि इससे काले धन पर लगाम लगेगी, नकली नोट बाहर हो जाएंगे और आतंकवाद को मिल रही आर्थिक मदद पर रोक लगेगी, उनमें खास दम नहीं है।

पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा, “पहली बात कि काला धन रखने वाले नकद में काली कमाई नहीं रखते। वे इस काली कमाई को अचल संपत्ति और सोना खरीदने में इस्तेमाल करते हैं या विदेशों में जमा करते हैं। नकदी के रूप में कुल काले धन का बहुत ही छोटा हिस्सा होता है।”

उन्होंने कहा, “दूसरी बात, अनुमान के मुताबिक अर्थव्यवस्था में चल रहे नकली नोटों की कुल कीमत 400-500 करोड़ रुपये से अधिक नहीं है जो देश की अर्थव्यवस्था में परिचालित कुल मुद्रा का सिर्फ 0.02 फीसदी ही है।”

उन्होंने कहा कि इतनी मामूली मात्रा में नकली नोटों से निपटने के लिए सरकार का रातोंरात लिया गया नोटबंदी का फैसला ‘समझ से परे’ है।

जयराम रमेश ने कहा, “यह स्पष्ट हो चुका है कि यह फैसला राजनीति से प्रेरित था, न कि अर्थव्यवस्था को ध्यान में रखकर लिया गया।”

उन्होंने कहा, “इस तुगलकाशास्त्र का सबसे अधिक खामियाजा असंगठित क्षेत्र में काम करने वाले तथा ग्रामीण एवं कृषि क्षेत्र के लोग उठा रहे हैं और इन क्षेत्रों को इस झटके से उबरने में 12 महीने से अधिक लग जाएंगे।”

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