ग्रेट गीजा पिरामिड से जुडी रोचक जानकारी, जानिये क्यों हैं इतने खास

Facts of Great Giza Pyramid in Hindi

मिस्र कि सभी ऐतिहासिक इमारतों में मिस्र के पिरामिड सबसे ज्यादा पॉपुलर है। हर साल इन्हें देखने लाखों टूरिस्ट आते हैं। इनमे से एक “ग्रेट गीजा पिरामिड (Great Giza Pyramid)” का शुमार प्राचीन विश्व के सात आश्चर्यों में होता है। आज हम आपको इन पिरामिड से जुडी रोचक बातें बता रहे है –

Giza Pyramid

जानिये क्यों हैं इतने खास-

1. मिस्र के पिरामिड में राजाओं के शवों को दफनाकर सुरक्षित रखा जाता था। इन शवों को ममी कहते हैं। शव के साथ वस्त्र, गहने, बर्तन, हथियार या अन्य चीज़ें भी दफनाई जाती थी। कई बार तो सेवक-सेविकाओं को भी दफ़न कर दिया जाता था। ऐसा करने के पीछे प्राचीन मिस्रवासियों की यह मान्यता थी कि मरने के बाद जब आदमी दूसरी दुनिया में जाता है तब साथ दफनाई गई चीज़ें उनके काम आती है।

2. वैसे तो मिस्र में 138 पिरामिड है, जो 13 एकड़ एरिया में फैले हैं। पर इसमें सबसे प्रसिद्ध ग़िज़ा का पिरामिड है। इसे ग्रेट ग़िज़ा पिरामिड भी कहा जाता है। इसका शुमार दुनिया के 7 अजूबों में होता है। यह एक मात्र अजूबा है जो आज भी मौजूद है बाकि सभी 6 अजूबें नष्ट हो चुके है।

3. ग्रेट ग़िज़ा पिरामिड (Great Giza Pyramid) 450 फ़ीट ऊंचा है। 4300 सालों तक यह दुनिया की सबसे ऊंची संरचना रहा। 19 वि सदी में इसका यह रिकॉर्ड टूट गया।

4. ऐसा माना जाता है कि ग्रेट ग़िज़ा पिरामिड (Great Giza Pyramid) को बनाने में लगभग 30 साल का वक़्त लगा था। वही इसे 30 लाख से ज्यादा मजदूरों ने तैयार किया था।

5. पिरामिड में 2 से लेकर 30 टन तक के 23 लाख चूना पत्थरों का इस्तेमाल किया गया है।

6. ग्रेट पिरामिड के अंदर का तापमान हमेशा ही 20 डिग्री सेल्सियस तक स्थिर रहता है। फिर चाहे बाहर का तापमान कैसा भी हो।

7. तथ्यों के आधार पर इसका निर्माण करीब 2560 ईसा पूर्व मिस्र के शासक खुफु के चौथे वंश द्वारा अपनी कब्र के तौर पर कराया गया था।

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8. विशेषज्ञों के मुताबिक़ पिरामिड के बाहर पत्थरों को इस तरह तराश और फिट किया गया है कि इनके जोड़ में एक ब्लेड भी नहीं घुसाई जा सकती।

9. यदि इस पिरामिड के पत्थरों को 30 सेंटीमीटर मोटे टुकड़ों में काट दिया जाए, तो इनसे फ्रांस के चारों ओर एक मीटर ऊंची दीवार बनाई जा सकती है।

10. गीजा पिरामिड का बेस (आधार) 55,000 m2 (592,000 स्क्वायर फुट) है। इसका एक-एक कोना 20,000 m2 (218, 000 स्क्वायर फुट) क्षेत्र में बना है।

11. पिरामिड में नींव के चारों कोने के पत्थरों में बॉल और सॉकेट बनाए गए है, ताकि ऊष्मा से होने वाले प्रसार और भूकंप से ये सुरक्षित रहे।

12. कुछ साल पहले तक (लेजर किरणों से माप के उपकरण के अविष्कार होने तक) वैज्ञानिक इसकी सूक्ष्म सिमट्रीज का पता भी नहीं लगा पाये थे।

13. मिस्रवासी पिरामिड का इस्तेमाल वैधशाला, कैलेंडर, सूर्य की परिक्रमा में पृथ्वी की गति और प्रकाश के वेग को जानने के लिए करते थे।

14. वैज्ञानिक प्रयोगों द्वारा यह प्रमाणित हो गया है कि पिरामिड के अंदर विलक्षण किस्म की ऊर्जा तरंगे लगातार काम करती रहती है जो सजीव और निर्जीव, दोनों ही तरह की वस्तुओं पर प्रभाव डालती है। वैज्ञानिक इसे “पिरामिड पॉवर” कहते है।

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