जम्मू-कश्मीर हमले में हमले में डॉक्टर समेत 6 अन्य की मौत, पाकिस्तान स्थित लश्कर फ्रंट ने ली ज़िम्मेदारी: सूत्र

लश्कर-ए-तैयबा की शाखा, पाकिस्तान स्थित द रेजिस्टेंस फ्रंट ने गंदेरबल में हमला किया, जिसमें सात लोग मारे गए, इस प्रकार पहली बार कश्मीरियों और गैर-कश्मीरियों दोनों को निशाना बनाया गया।

पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा से जुड़े संगठन द रेजिस्टेंस फ्रंट (टीआरएफ) ने जम्मू-कश्मीर के गंदेरबल जिले में हुए हमले की जिम्मेदारी ली है, जिसमें रविवार को एक डॉक्टर और छह प्रवासी श्रमिकों की मौत हो गई थी। यह जानकारी सूत्रों ने इंडिया टुडे को दी।

सूत्रों ने बताया कि टीआरएफ प्रमुख शेख सज्जाद गुल इस हमले का मास्टरमाइंड है और समूह के स्थानीय मॉड्यूल ने उसके इशारे पर पहली बार कश्मीरियों और गैर-कश्मीरियों को एक साथ निशाना बनाकर हमला किया। सूत्रों ने बताया कि टीआरएफ कश्मीर में सक्रिय है और पिछले डेढ़ साल में उसने कश्मीरी पंडितों, सिखों और गैर स्थानीय लोगों को निशाना बनाया है, जिससे संगठन की रणनीति में बड़ा बदलाव आया है। इससे पहले इस संगठन ने कई कश्मीरी पंडितों की हत्या की थी।

सूत्रों ने बताया कि आतंकवादी समूह ने पिछले एक महीने से गंदेरबल जिले के सोनमर्ग इलाके में स्थित एक निर्माण स्थल – हमले स्थल की टोह ली थी। उन्होंने बताया कि दो से तीन आतंकवादी लक्षित हत्याओं को अंजाम देने वाले थे।

केंद्रीय गृह मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार, आतंकवाद निरोधी इकाई, राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) की चार सदस्यीय टीम सोमवार दोपहर को हमले वाली जगह का दौरा करेगी। उन्होंने बताया कि रविवार को हुए हमले की जांच एनआईए को सौंपी जा सकती है।

प्रारंभिक रिपोर्टों के अनुसार, डॉक्टर शाहनवाज और जिन प्रवासी श्रमिकों पर हमला किया गया, वे ज़ेड-मोड़ सुरंग पर काम कर रहे निर्माण दल का हिस्सा थे, जो गगनेर को गंदेरबल में सोनमर्ग से जोड़ती है।

अधिकारियों ने समाचार एजेंसी पीटीआई को बताया कि आतंकवादियों ने यह हमला उस समय किया जब गंदेरबल के गुंड में सुरंग परियोजना पर काम कर रहे मजदूर और अन्य कर्मचारी देर शाम अपने शिविर में लौट रहे थे। हमले में पांच अन्य घायल हो गए।

राहुल गांधी, उमर अब्दुल्ला ने हमले की निंदा की

कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने सोमवार को इस “कायरतापूर्ण” हमले की निंदा की और शोक संतप्त परिवारों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त की तथा घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की।

उन्होंने ट्वीट किया, “जम्मू-कश्मीर के गंदेरबल में हुए आतंकी हमले में एक डॉक्टर व प्रवासी मजदूरों समेत कई लोगों की हत्या बहुत ही कायराना व अक्षम्य अपराध है। मैं सभी शोक संतप्त परिवारों के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करता हूं और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं।”

उन्होंने कहा, ‘‘आतंकवादियों का यह दुस्साहस जम्मू-कश्मीर के लोगों का विश्वास कभी नहीं तोड़ पाएगा। आतंकवाद के खिलाफ इस लड़ाई में पूरा देश एकजुट है।’’

जम्मू एवं कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने “निहत्थे निर्दोष लोगों” पर हमले की कड़ी निंदा की, जो उनके शपथ ग्रहण के मात्र चार दिन बाद हुआ।

गंदेरबल में यह हमला 18 अक्टूबर को शोपियां जिले में बिहार के एक प्रवासी मजदूर की आतंकवादियों द्वारा हत्या के बाद हुआ है । इसी वर्ष अप्रैल में भी इसी तरह का हमला हुआ था, जब अनंतनाग जिले में आतंकवादियों ने बिहार के ही एक प्रवासी मजदूर की गोली मारकर हत्या कर दी थी ।

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