ट्रैक्टर रैली: दिल्ली के हालात पर गृह मंत्री अमित शाह ने आपात बैठक बुलाई, किसान नेता बोले- हमने कानून नहीं तोड़ा

गणतंत्र दिवस पर किसानों ने ट्रैक्टर रैली को हिंसक बनाया। जोशीले नारों के बीच किसानों के ट्रैक्टर आगे बढ़े तो पुलिस उनके सामने आ गई। किसानों ने सिंघु, टीकरी और गाजीपुर बॉर्डर पर पुलिस के सारे बैरिकेड्स तोड़ डाले। दिल्ली में किसान परेड के कई रंग दिखे। स्वरूप नगर में किसान रैली पर फूल बरसाए गए, तो नोएडा मोड़ पर पुलिस और किसानों के बीच टकराव हुआ।

इसके बाद जब परेड लाल किले पर पहुंची, तो वहां बवाल हो गया। पुलिस ने लाठीचार्ज किया और आंसू गैस छोड़ी।

दिल्ली में बिगड़ते हालात के मद्देनजर गृह मंत्री अमित शाह ने आपात बैठक बुलाई। मीटिंग में दिल्ली पुलिस, इंटेलिजेंस और गृह मंत्रालय के आला अधिकारी मौजूद रहे। गृह मंत्रालय के सचिव अजय भल्ला ने शाह को दिल्ली के हालात की जानकारी दी। भल्ला ने उन्हें बताया कि कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों की ट्रैक्टर रैली कब और कैसे हिंसक हुई।

इस बीच किसान नेताओं ने कहा है कि उनकी तरफ से कानून नहीं तोड़ा गया है। संयुक्त किसान मोर्चा के नेताओं ने कहा कि मार्च में शामिल 32 किसान संगठन ट्रैक्टर परेड के लिए पुलिस की ओर से तय किए रूट पर ही चल रहे थे। पंजाब के किसान बचाओ मोर्चा के नेता कृपा सिंह ने लाल किले में हंगामे का आरोप किसान मजदूर संघर्ष कमेटी पर लगाया।

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