सुप्रीम कोर्ट से मायावती को बड़ी राहत, ख़ारिज हुई याचिका

लखनऊ: बसपा सुप्रीमों मायावती को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है सुप्रीम कोर्ट ने मायावती के खिलाफ लगाई गयी उस याचिका को खारिज कर दिया है जिसमें कहा गया था कि मायावती ने अदालती पाबंदी का उल्लंघन करते हुए धर्म और जाति के आधार पर वोट मांगे है।

याचिका में अदालत से मांग कि गयी थी कि वो बसपा की मान्यता रद्द करके मायावती के खिलाफ कार्रवाई करने का कष्ट करे।

न्यायमूर्ति एसए बोबडे की अध्यक्षता वाली पीठ ने इलाहाबाद हाईकोर्ट के फैसले को सही ठहराते हुए नीरज शंकर सक्सेना द्वारा दायर इस याचिका को खारिज कर दिया है पीठ ने कहा ‘चुनाव प्रक्रिया शुरू हो चुकी है ऐसे में अदालत द्वारा दखल देने का कोई कारण नहीं बनता’।

सक्सेना की ओर से पेश वकील विष्णु जैन ने पीठ के समक्ष कहा कि मायावती ने गत तीन जनवरी को एक संवाददाता सम्मेलन आयोजित कर सुप्रीम कोर्ट के आदेश का खुले तौर पर उल्लंघन किया है मायावती ने इस संवाददाता सम्मेलन में विधानसभा चुनाव के लिए उम्मीदवारों की सूची जारी की थी याचिकाकर्ता के वकील का आरोप है कि मायावती की यह सूची धर्म और जाति के आधार पर तैयार की गई थी।

मायावती ने इसके साथ ही बसपा की एक बुकलेट जारी की थी जिसमें उन्होंने अपनी पार्टी को मुसलमान का सच्चा हितैषी बताया था मायावती ने मुस्लिम मतदाताओं से अपील की थी कि समाजवादी पार्टी में फूट पड़ गई है, लिहाजा वे समाजवादी पार्टी को वोट न देंकर बसपा को वोट दें।

गौरतलब है कि याचिकाकर्ता से इससे पहले चुनाव आयोग और इलाहाबाद हाईकोर्ट का दरवाजा भी खटखटाया था हाईकोर्ट ने यह कहते हुए याचिका पर सुनवाई करने से इनकार कर दिया था कि इस मसले पर चुनाव आयोग अपने नियम के तहत इसका निपटारा करेगा लेकिन हाईकोर्ट ने चुनाव आयोग के लिए कोई समय सीमा निर्धारित  नहीं की थी।

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