राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार विजेता संगीतकार वनराज भाटिया का निधन, मुंबई में आवास पर ली अंतिम सांस

हिंदुस्तानी और पाश्चात्य शास्त्रीय संगीत पर पकड़ रखे वाले प्रसिद्ध संगीतकार वनराज भाटिया का शुक्रवार सुबह मुंबई में उनके आवास पर निधन हो गया। 93 वर्षीय वनराज भाटिया दिल्ली विश्वविद्यालय में संगीत के 5 साल तक रीडर रहे थे।

उन्होंने श्याम बेनेगल की फिल्म अंकुर से अपनी फिल्मी करियर की शुरुआत की थी। देश के पहले संगीतकार रहे भाटिया ने विज्ञापन फिल्मों के लिए अलग से संगीत रचने की शुरुआत की थी।

वनराज भाटिया काफी लंबे समय से बीमार रह रहे थे। उन्होंने दक्षिण मुंबई स्थित अपने आवास पर सुबह अंतिम सांस ली। ‘मंथन’, ‘भूमिका’, ‘जाने भी दो यारों’, ’36 चौरंगी लेन’ और ‘द्रोहकाल’ जैसी फिल्मों से वह हिंदी सिनेमा में लोकप्रिय हुए।

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