माल्‍या अब भगोड़ा कारोबारी नहीं…खौफ बना, भारत की शर्मनाक कमजोरियां बता हंसने लगा

माल्यानई दिल्ली। भारत को लूटकर भाग जाने वाले माल्‍या बिना किसी खौफ के ब्रिटेन में रह रहे हैं। लेकिन अपने को ‘द किंग ऑफ गुड टाइम्स’ कहने वाले 61 वर्षीय माल्या मंगलवार को सुबह अचानक कर लिया तो भारत में खुशी की लहर दौड़ गई। लेकिन गिरफ्तार माल्‍या मध्य लंदन पुलिस थाने में पेश हुआ और महज तीन घंटों में छूटकर भारत की किरकिरी कर दी।

माल्या का मीडिया पर ताना

शराब कारोबारी ने जमानत मिलने के बाद कहा, ‘सामान्यत: यह भारतीय मीडिया द्वारा फैलाई जा रही सनसनी है। अदालत में प्रत्यर्पण सुनवाई मंगलवार को अपेक्षित तौर पर शुरू हुई।’

माल्या की निष्क्रिय हो चुकी किंगफिशर एअरलाइन्स पर विभिन्न बैंकों की नौ हजार करोड़ रुपये से अधिक की देनदारी है। वह दो मार्च 2016 को भारत से भागकर ब्रिटेन पहुंच गया था। जनवरी में एक भारतीय अदालत ने बैंकों के एक समूह को ऋण वसूली की प्रक्रिया शुरू करने का आदेश दिया था।

बड़ा खुलासा : माल्या ने खुद करवाई अपनी गिरफ्तारी, अब कभी नहीं पकड़ पाएगा भारत

क्‍या है पूरा मामला  

पिछले एक साल से ब्रिटेन में रह रहे विजय माल्या को मंगलवार को ब्रिटेन में गिरफ़्तार किया गया। माल्या को धोखाधड़ी के आरोपों में उसके प्रत्यर्पण के भारत सरकार के आग्रह पर गिरफ्तार किया गया। हालांकि वेस्टमिंस्टर कोर्ट ने उसे कुछ घंटे के बाद जमानत दे दी। माल्य पर भारतीय बैंकों का 9000 करोड़ रुपये का कर्ज न चुकाने का आरोप है। भारत में माल्या को ‘विल्फ़ुल डिफ़ॉल्टर’ घोषित किया गया है और ऐसे आरोप भी लगे हैं कि उन्होंने गिरफ़्तारी से बचने के लिए पिछले साल दो मार्च को देश छोड़ा था।

स्कॉटलैंड यार्ड ने कहा, ‘मेट्रोपॉलिटन पुलिस की प्रत्यर्पण इकाई ने आज (मंगलवार, 18 अप्रैल) सुबह प्रत्यर्पण वारंट पर एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया। विजय माल्या को धोखाधड़ी के आरोप के सिलसिले में भारतीय अधिकारियों की ओर से गिरफ्तार किया गया।’

मेट्रोपॉलिटन पुलिस ने कहा कि माल्या को तब गिरफ्तार किया गया जब वह मध्य लंदन पुलिस थाने में पेश हुआ। वह लंदन में वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट अदालत पेश हुआ और कुछ घंटे बाद जमानत मिलने के बाद अपनी कानूनी टीम के साथ बाहर आते देखा गया।

माल्या की टीम के एक सदस्य ने जमानत शर्तों का कोई ब्योरा दिए बिना अदालत में कहा, ‘यह एक स्वैच्छिक कार्रवाई थी। वह कुछ मिनट में बाहर आ जाएंगे।’

भारतीय अधिकारियों की पहली कामयाबी और हार

वरिष्ठ भारतीय अधिकारियों ने उसकी गिरफ्तारी को मामले में पहली सफलता बताया जिसमें अब ब्रिटेन में यह तय करने के लिए एक कानूनी प्रक्रिया होगी कि क्या माल्या को भारतीय अदालतों में आरोपों का सामना करने के लिए प्रत्यर्पित किया जा सकता है।

माल्या की गिरफ्तारी वित्त मंत्री अरुण जेटली द्वारा दिए गए उस संकेत के हफ्तों बाद हुई है जिसमें उन्होंने कहा था कि उनकी ब्रिटेन यात्रा के दौरान बातचीत में माल्या के प्रत्यर्पण का मुद्दा शामिल होगा।

भारत ने ब्रिटेन के साथ प्रत्यर्पण संधि के अनुरूप आठ फरवरी को एक ‘नोट वर्बेल’ के जरिए माल्या के प्रत्यर्पण के लिए औपचारिक आग्रह किया था। नयी दिल्ली ने आग्रह सौंपते हुए कहा था कि माल्या के खिलाफ उसके पास एक ‘जायज’ मामला है। इसने उल्लेख किया था कि यदि प्रत्यर्पण आग्रह का सम्मान किया जाता है तो यह ‘हमारी चिंताओं के प्रति’ ब्रिटेन की ‘संवेदनशीलता’ को प्रदर्शित करेगा।

भारत और यूके के बीच 1992 में प्रत्यर्पण संधि हुई थी। लेकिन इस संधि के बाद भी अभी तक भारत के ढेरों अपील लंबित हैं। हालांकि अब ऐसे संकेत हैं कि लंबित मामलों में तेजी लाई जा सकती है।

भारत की ओर से कई भारतीयों के प्रत्यर्पण की अपील की गई है जिसमें ललित मोदी, टाइगर हनीफ, नदीम सैफी, रवि शंकरन और विजय माल्या शामिल थे। लेकिन अभी तक सिर्फ अक्टूबर 2016 में एक प्रत्यर्पण हुआ है। इस दौरान समीरभाई विनुभाई पटेल को प्रत्यर्पित किया गया। समीरभाई को 2002 के गुजरात दंगों से संबंधित एक मामले में प्रत्यर्पित किया गया था

प्रत्यर्पण की प्रक्रिया

पिछले महीने ब्रिटिश सरकार ने माल्या के प्रत्यर्पण की प्रक्रिया के संबंध में भारत के आग्रह को प्रमाणित कर इसे आगे की कार्रवाई के लिए एक जिला न्यायाधीश के पास भेज दिया था। ब्रिटेन से प्रत्यर्पण की प्रक्रिया में न्यायाधीश द्वारा गिरफ्तारी वारंट जारी करने सहित कई कदम शामिल होते हैं।

वारंट के मामले में व्यक्ति को गिरफ्तार किया जाता है और प्रारंभिक सुनवाई के लिए अदालत लाया जाता है। फिर विदेश मंत्री द्वारा अंतिम फैसला किए जाने से पहले एक प्रत्यर्पण सुनवाई होती है। वांछित व्यक्ति को किसी भी फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट तक उच्च अदालतों में अपील करने का अधिकार होता है।

इस साल के शुरू में एक सीबीआई अदालत ने 720 करोड़ रुपये के आईडीबीआई बैंक ऋण डिफॉल्ट मामले में माल्या के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया था।

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