बिहार टॉपर्स घोटाला : टॉपर रूबी राय व लालकेश्वर का पीए गिरफ्तार

बिहार टॉपर्स घोटालापटना | बहुचर्चित बिहार टॉपर्स घोटाला में इस वर्ष 12वीं की परीक्षा में कला संकाय की टॉपर और बिशुनराय कॉलेज की छात्रा रूबी राय और बिहार विद्यालय परीक्षा समिति (बीएसईबी) के पूर्व अध्यक्ष लालकेश्वर प्रसाद सिंह के निजी सचिव (पीए) रहे विकास चंद्रा को पुलिस ने शनिवार को गिरफ्तार कर लिया। रूबी अपनी मेधा साबित करने के लिए बिहार विद्यालय परीक्षा समिति (बीएसईबी) कार्यालय पहुंची थी।

पटना के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि टॉपर्स घोटाले की जांच में जुटी विशेष जांच दल (एसआईटी) ने रूबी को बोर्ड कार्यालय से गिरफ्तार किया है।

बिहार टॉपर्स घोटाला: फर्जी टॉपर्स पर कसा सिकंजा

परीक्षा बोर्ड की ओर से विशेषज्ञों की टीम ने रूबी राय का साक्षात्कार लिया, जिसमें रूबी असफल साबित हुई। समिति के अधिकारियों के मुताबिक, रूबी सामान्य सवालों का भी जवाब नहीं दे पाई।

बिहार विद्यालय परीक्षा बोर्ड के अध्यक्ष आनंद किशोर ने बताया कि रूबी साक्षात्कार में पूरी तरह असफल साबित हुई। 12वीं का उसका परिणाम रद्द कर दिया गया है।

बिहार टॉपर्स घोटाला का खुलासा मीडिया के माध्यम से हुआ था। इस वर्ष आयोजित 12वीं की परीक्षा के परिणाम में टॉपर आए छात्रों के मामले में घोटाला सामने आने पर समिति ने विशेषज्ञों की एक टीम बनाई थी और 14 टॉपरों को तीन जून को साक्षात्कार के लिए बुलाया था।

विशेषज्ञों द्वारा लिए गए साक्षात्कार के बाद विज्ञान संकाय के टॉपर्स बने सौरभ श्रेष्ठ और राहुल कुमार का परीक्षा परिणाम पहले ही रद्द कर दिया गया था, इस साक्षात्कार में रूबी नहीं पहुंची थी।

इसके बाद समिति ने 11 जून को रूबी को दूसरा मौका दिया था, लेकिन उस दिन भी रूबी नहीं पहुंची। बोर्ड ने बाद में रूबी के साक्षात्कार के लिए अंतिम तिथि 25 जून को निर्धारित की थी।

इधर, पुलिस ने बीएसईबी के पूर्व अध्यक्ष लालकेश्वर प्रसाद सिंह के निजी सचिव विकास चंद्रा को पटना से गिरफ्तार किया है। इसके साथ ही इस मामले में पुलिस ने अब तक 18 लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है।

एसआईटी जांच की कमान संभाल रहे पटना के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक मनु महाराज ने शनिवार को बताया कि इस मामले में विकास को गिरफ्तार किया गया है।

उन्होंने बताया कि गिरफ्तारी के बाद हुई पूछताछ में विकास ने घोटाले को लेकर कई राज खोले हैं। विकास ने इस पूरे मामले में शामिल होने की बात कबूल कर ली है। विकास ने स्वीकार किया है कि यह मामला चार स्तर पर चल रहा है और लालकेश्वर, उषा सिन्हा और बच्चा राय के बीच वह एक कड़ी था।

विकास ने पूछताछ के दौरान यह भी स्वीकार किया कि विज्ञान संकाय के टॉपर बनाने के लिए 15 लाख रुपये का भुगतान बच्चा राय ने उषा सिन्हा को उसी के माध्यम से किया था। विकास ने कहा कि परीक्षा में असफल हो चुके छात्रों को भी 10 लाख रुपये लेकर पास किया जाता था।

गौरतलब है कि इस मामले में बीएसईबी के पूर्व अध्यक्ष लालकेश्वर और उनकी पत्नी एवं जनता दल (युनाइटेड) की पूर्व विधायक उषा सिन्हा तथा विशुन राय कॉलेज के प्राचार्य बच्चा राय को पुलिस पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है।

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