फैसले की घड़ी : बाबरी विध्वंस केस में विशेष सीबीआई अदालत सुनाएगी अपना फैसला
ढ़ांचा विध्वंस मामले में 28 सालों तक चली सुनवाई के बाद अब फैसले की घड़ी आ चुकी है। मामले में सुनवाई के दौरान काफी पेंच फंसते रहें। ज्ञात हो कि ढ़ांचा ढहने के बाद तत्कालीन थाना प्रभारी राम जन्मभूमि प्रियंबदा नाथ शुक्ला ने 6 दिसंबर 1992 को ही सांय 5.15 बजे अज्ञात कारसेवकों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करवाई थी। हालांकि इसके कुछ देर बाद ही 5.25 पर राम जन्मभूमि चौकी प्रभारी गंगा प्रसाद तिवारी की ओर से अशोक सिंघल, लालकृष्ण आडवाणी, उमा भारती, मुरली मनोहर जोशी, विनय कटियारस विष्णु हरि डालमिया, गिरिराज किशोर और साध्वी रितंभरा के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करवाई गयी। इसी के साथ मीडिया कर्मियों ने भी कारसेवकों के खिलाफ कैमरा, रील छीनने और अभद्रता करने को लेकर 47 रिपोर्ट दर्ज करवाई थी।
विवेचना के दौरान इनकी हो गयी थी मौत
मामले में विवेचना के दौरान कई लोगों की मौत हो गयी थी। जिसमें कुछ नाम प्रमुख हैं।
- बाला साहेब ठाकरे
- अशोक सिंघल
- गिरिराज किशोर
- विष्णु हरि डालमिया
- मोरेश्वर सावे
- रामनरायण दास
- महामण्डलेश्वर जगदीश मुनि महाराज
- विनोद कुमार वत्स
- लक्ष्माी नारायण दास महात्यागी
- रमेश प्रताप सिंह
- पूर्व एसएसपी डीबी राय
- महन्त अवैद्यनाथ
- बैकुण्ठलाल शर्मा
- परमहंस रामचंद्र दास
- डॉ सतीश कुमार नागर
- हरगोविंद सिंह