पैसे की तंगी के चलते चार किसानों की मौत

लखनऊ| उत्तर प्रदेश में अलग अलग जगहों पर पैसे की तंगी से जूझ रहे तीन किसानों के मरने की खबर मिली है| इनकी अचानक हुई मौत से घर और गांव में मातम पसरा हुआ है।

खबर के अनुसार थाना चांदपुर के बिजौली गांव के पचास वर्षीय किसान अनिल के पास मात्र ढाई बीघे की जमीन थी। वही उसके परिवार को भरण पोषण का सहारा था। लगातार सूखे की स्थित के चलते आर्थिक स्थित काफी बिगड़ जाने से वह परेशान था। शुक्रवार देर रात रोज की तरह खा पीकर सो गया।

आधी रात को उसने घर के बाहर खड़े नीम के पेड़ से फांसी लगाकर जान दे दी। भोर में उसका भाई उठा तो पेड़ से शव को लटकता देखा। कोहराम मचा, शोर-शराबा होने पर ग्रामीण इकट्ठा हो गए और उन्होंने पुलिस को सूचना दे दी।

पैसे की तंगी

पैसे की तंगी झेल रहे थे किसान

चांदपुर के एसओ ने बताया कि किसान पत्नी के कैंसर से भी दुखी रहता था। मृतक अनिल के बेटे अमित का कहना है कि दो साल से सूखे की मार झेलने के बाद परिवार आर्थिक तंगी झेल रहा था। मृत किसान के परिवार में पत्नी और 6 बच्चे हैं। बड़ा बेटा विवाहित है, दो बेटियों की शादी बाकी है।

वहीँ सूखे से कराह रहे हमीरपुर जिले में सदमे से दो किसान और एक मजदूर की मौत हो गई। जानकारी मिली है कि कपसा निवासी शिवमंगल सिंह फसल की कम पैदावार से क्षुब्ध था। आर्थिक तंगी की मार झेल रहे इस किसान को तीसरी बार दिल का दौरा पड़ा। जब तक उसे अस्पताल ले जाया जाता, उसने दम तोड़ दिया।

उधर कुरारा क्षेत्र के डामर गांव में लखनलाल (48) पुत्र दुर्गा प्रसाद की भी दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई। बताया जाता है कि उसने चार बीघे जमीन पर फसल बोई थी जो सूखे के कारण पूरी तरह से बर्बाद हो गई थी। उसने बैंक से भी 60 हजार रुपये का कर्ज ले रखा था।

इधर रहुनियां हमीरपुर में टिंकू नाम के एक किसान की सदमे से मौत हो गई। वह कानपुर के नौबस्ता का रहने वाला था। वह आर्थिक तंगी के कारण भी काफी दिनों से परेशान था।

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