जानें क्या है न्यूमोथोरैक्स के लक्षण, करण और उपचार
फेफड़ों का ध्वस्त होना एक ऐसी स्थिति है जिसमें फेफड़ों और छाती की दीवर के बीच हवा लीक होने लगती है, इस स्थिति को न्यूमोथोरैक्स भी कहते हैं।
न्यूमोथोरैक्स वह स्थिति है जब फेफड़ों और छाती की दीवार के बीच हवा लीक हो जाती है। बाहर की तरफ से यह हवा फेफड़ों पर दबाव बनाती है, जिसकी वजह से ये सिकुड़ जाते हैं। इसे Collapsed lung या ध्वस्त फेफड़े कहते हैं। यदि फेफड़े का केवल एक छोटा एरिया ही प्रभावित है तो इसमें कोई विशेष लक्षण उत्पन्न नहीं होते हैं।
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फेफफे के छोटे हिस्से का प्रभावित होना ऐटलेक्टसिस कहलाता है। बड़ा क्षेत्र प्रभावित होने पर आपको सांस की तकलीफ और तेज हृदयगति का अनुभव हो सकता है। छाती का एक्स-रे करने के बाद इस स्थिति को आसानी से पता लगाया जा सकता है। जबकि इसका उपचार इसके कारणों पर निर्भर करता है।
फेफड़ों की इस गंभीर समस्या के बारे में हमने नारायण सुपरस्पेशलिटी अस्पताल, गुरूग्राम की कंसल्टेंट पल्मोनोलॉजिस्ट डॉक्टर शीबा कल्याण बिस्वाल से बात की, जिसमें उन्होंने फेफड़े खराब होने के कारणों और इलाज के बारे में विस्तार से बात की। आइए जानते हैं।
न्यूमोथोरैक्स के लक्षण क्या हैं
- अचानक छाती मे दर्द
- सांस लेने में तकलीफ़
- सूखी खांसी
- सिर चकराना
न्यूमोथोरैक्स के कारण क्या है
न्यूमोथोरैक्स के कई कारण हो सकते हैं जैसे:
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- दुर्घटनावश छाती में कुंठित चोट लगना, जैसे गोली लगना
- फेफड़ों से जुड़ी किसी बीमारी से हुई क्षति
- फेफड़ों से जुड़ी कुछ चिकित्सा प्रकिया
- धूम्रपान करने वालों को इसका बड़ा खतरा होता है, इसके अलावा बिना किसी स्पष्ट कारण के भी हो सकता है।
न्यूमोथोरैक्स की जांच कैसे करते हैं
आमतौर पर डॉक्टर स्टैथोस्कोप से मरीज़ की सांसों का जायज़ा लेकर पता लगाते हैं। इसके अलावा गंभीरता के अनुसार एक्स- रे, सीटी स्कैन, आदि किये जाते हैं।
न्यूमोथोरैक्स का इलाज
इसका इलाज इसकी गंभीरता पर निर्भर करता है। मामूली न्यूमोथोरैक्स बिना उपचार भी ठीक हो जाते हैं। एक्स-रे, सीटी स्कैन, आदि जैसी जांच की जातीं हैं। रोगी की स्थिति पर नज़र रखी जाती है। ज़रूरत पड़ने पर ऑक्सीजन थेरेपी भी दी जाती है। कुल मिलाकर इसका उद्देश्य फेफड़ों को उनकी सामान्य स्थिति में लाना होता है।
न्यूमोथोरैक्स की समस्या किस उम्र में हो सकती है
न्यूमोथोरैक्स की समस्या किसी भी उम्र में हो सकती है। इसके अलावा यह महिलाओं और बच्चों या किसी भी उम्र के व्यक्तियों को हो सकती है।